भारत के इन राज्यों मे है सब से कम जंगल
दोस्तों इस दुनिया में जंगलो का एक अलग ही महत्व है। क्योंकि जंगलों से हमे वो Oxygen मिलती है जिसके बिना हम जीवन की कल्पना नही कर सकते हैं। अगर जंगलों के मामले में भारत की स्थिति को देखा जाए तो भारत दुनिया का 10 वां ऐसा देश है जिसका सबसे ज्यादा क्षेत्र जंगल से घिरा हुआ है।
लेकिन जहाँ भारत के कुछ राज्य जंगल के एक बड़ा area को cover किए हुए हैं वहीं कुछ राज्य ऐसे भी हैं जहाँ बहुत ही कम जंगल है।
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आज के इस article मे हम सब 10 सबसे कम जंगली क्षेत्र वाले इन्हीं राज्यों के बारे में जानते हैं।
1. दिल्ली
दोस्तों भारत की राजधानी दिल्ली के बारे मे तो सभी जानते होंगे जो भारत के सबसे विकसित राज्यों की श्रेणी में आता है। लेकिन क्या आपको इस बारे में जानकारी है कि जहां लगातार दिल्ली अपने infrastructure को मजबूत कर रहा है तो वहीं वहाँ लगातार जंगलों की कटाई जारी है। जिसके कारण आज दिल्ली को प्रदूषण से भी जूझना पड़ रहा है।
आपको जान कर आश्चर्य होगा की कुल 1483 वर्ग किलोमीटर में फैले दिल्ली राज्य में जब वन्य क्षेत्र की बात आती है तो यह केवल 195 वर्ग किलोमीटर पर ही आकर सिमट जाता है। जो की दिल्ली के कुल एरिया का महज 13.18% प्रतिशत है।
यह बात सच है की इतने कम वन्य क्षेत्र होने के दोषी जंगलों की अवैध कटाई करने वाले माफिया हैं। वहीं दिल्ली में होने वाला विकास भी इसके लिए बराबर का जिम्मेदार है।
2. हरियाणा
हरियाणा का नाम सुनते ही हम सभी के दिमाग में दो चीजें आती है एक पहलवानी और दूसरा खेती। क्योंकि इन दोनों ही चीजों में हरियाणा हमेशा आगे होता है।
लेकिन जब बात वन्य क्षेत्र की हो तब हरियाणा इसमें काफी पीछे है क्योंकि हरियाणा का सिर्फ 1602 वर्ग किलोमीटर का एरिया ही जंगलों से घिरा हुआ है। अगर हम हरियाणा राज्य के कुल क्षेत्रफल पर नजर डालें तो वह 44212 वर्ग किलोमीटर है। जिसमे जंगलों का कुल एरिया महज 3.62 प्रतिशत है। जिसका कारण बड़े स्तर पर खेती की जमीन की उपलब्धता है जिसके कारण जंगल के जंगल काट दिए जाते हैं।
3. पंजाब
पंजाब भारत एक बहुत ही प्रमुख राज्य है जिसकी सीमा पाकिस्तान से लगती है। यह राज्य भारत मे रहने वाले सिख समुदाय का प्रमुख गढ़ माना जाता है। क्योंकि सिख धर्म की शुरुआत इसी राज्य से हुई थी। इसी वजह से भारत के अधिकतर सिख इसी राज्य मे रहते हैं।
इतना तो आपको मालूम ही होगा की पंजाब, भारत का एक कृषि प्रधान राज्य है। क्योंकि अक्सर कृषि क्षेत्र में अव्वल रहता है। लेकिन क्या आपको पता है, पंजाब की यही कृषि प्रधानता उसे सबसे कम वन क्षेत्र वाले राज्यों की श्रेणी में लाकर रख देती है।
क्योंकि 50362 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र मे फैले पंजाब का कुल वन्य क्षेत्र केवल 1849 SQ KMs है। जो की इसके कुल क्षेत्रफल का मात्र 3.67% है।
अगर हम हेक्टेयर के आधार पर देखें तो पंजाब का कुल एरिया करीब 50 लाख हेक्टेयर है, जिसमे से करीब 42 लाख हेक्टेयर खेती के लिए इस्तेमाल किया जाता है। इससे आप यह अंदाजा लगा ही सकते हैं की पंजाब में खेती का कितना महत्व है।
4. गोवा
जब भी कभी भारत का कोई व्यक्ति कहीं घूमने जाने का मन बनाता है तो उसके दिमाग में सबसे पहले गोवा जाने का ख्याल आता है। क्योंकि गोवा को भारत के सबसे सुंदर तटवर्ति इलाकों में से एक है। जो ना सिर्फ भारतीय बल्कि विदेशी लोगों के बीच भी बहुत ज्यादा प्रसिद्ध है।
लेकिन अगर आपको लगता है की गोवा मे केवल समुद्री तट ही मौजूद है तो ऐसा नही है। क्योंकि गोवा के जंगल भी इसकी सुंदरता मे चार चाँद लगाते हैं।
दोस्तों, जहां एक तरफ गोवा कुल 3702 वर्ग किलोमीटर के एरिया में फैला हुआ है तो वहीं दूसरी तरफ इसका वन्य क्षेत्र भी 2237 वर्ग किलोमीटर मे फैला हुआ है। जो की इसके कुल क्षेत्र का 60.43% है।
इस सबके बावजूद भी भारत का चौथा सबसे कम वन क्षेत्र गोवा में ही है जो कि जंगलो की अवैध कटाई की वजह से अब और भी कम होता जा रहा है।
5. सिक्किम
सिक्किम भारत का एक बहुत ही छोटा राज्य है जो कि अपने प्राकृतिक सौंदर्य की वजह से सिर्फ भारत ही नहीं बल्कि दुनिया भर के पर्यटकों के बीच आकर्षण का केंद्र बना रहता है जब भी आप सिक्किम घूमने जाएंगे तो आपको सिक्किम मे ज्यादातर जंगल ही जंगल दिखाई देंगे। क्योंकि जंगल 7096 SQ KMs के क्षेत्र मे फैले सिक्किम का 47.10% कवर करते हैं।
भले ही राज्य की दृष्टि से यह प्रतिशत बहुत ही ज्यादा हो, पर जब बात भारत के सबसे कम वन्य क्षेत्र वाले राज्य की बात आती है तब उसमे सिक्किम 5th स्थान पर आता है। क्योंकि सिक्किम का कुल वन्य क्षेत्र 3342 वर्ग किलो मीटर है।
दोस्तों जहां एक तरफ भारत के बहुत सारे राज्य पिछले कुछ सालों में अपने वन क्षेत्र को बढ़ाने में लगे हुए हैं तो वहीं सिक्किम मे पिछले 2 सालों में वन्य क्षेत्र के मामले में कमी देखने को मिली है। और इसका सीधा कारण खेती की जमीन बढ़ाने के लिए जंगलों की अवैध कटाई है। क्योंकि खेती सिक्किम की अर्थव्यवस्था मे बड़ा योगदान देती है।
6. बिहार
बिहार के बारे में तो आप सभी जानते ही होंगे जो कि जनसंख्या की दृष्टि से भारत का एक बहुत ही बड़ा राज्य है जिसकी सीमा नेपाल देश से लगती है। अगर हम बिहार का कुल क्षेत्रफल देखें तो वह करीब 94163 SQ KMs मे फैला हुआ है। जो बताता है की क्षेत्रफल के दृष्टि से बिहार भारत के कई राज्यों से आगे है।
लेकिन जितना अधिक बिहार का क्षेत्रफल है उसके उलट ठीक उतना ही कम बिहार मे वन्य क्षेत्र है। जी हैं, बिल्कुल सही पढ़ा आपने। क्योंकि बिहार का वन्य क्षेत्र केवल 7306 SQ KMs का है जो की इसके कुल क्षेत्रफल का मात्र 7.76% है।
अब आप सोच रहे होंगे की आखिर बिहार जैसे राज्य मे इतना कम वन्य क्षेत्र क्यों है। ऐसा इसलिए क्योंकि पिछले कई दशकों से लकड़ी और खेती की जमीन के लिए बिहार मे जंगलों की लगातार अवैध कटाई हो रही है। जिसके कारण इसके वन्य क्षेत्र मे काफी कमी देखने को मिली है।
7. त्रिपुरा
भारत के नॉर्थ ईस्ट मे स्थित त्रिपुरा अपने विभिन्न Tribal Culture और Religion Group के वजह से पूरे पूरे भारत में अपनी एक अलग ही पहचान बना चुका है। लेकिन जब भी भारत के सबसे कम वन क्षेत्र की बात होती है तब उसमें त्रिपुरा का नाम भी आता है। जो भारत का सातवां सब से कम वन क्षेत्र वाला राज्य है।
अगर हम त्रिपुरा के कुल वन्य क्षेत्र पर नजर डाले तो वह करीब 7726 SQ KMS है। जो उसके कुल क्षेत्रफल का 73.68% है। क्योंकि त्रिपुरा कुल 10486 वर्ग किलोमीटर के एरिया में फैला हुआ है, जिसकी लगभग 75% आबादी एग्रीकल्चर के ऊपर निर्भर करती है
8. नागालैंड
दोस्तों भारत का 8 वां सबसे कम वन्य क्षेत्र नागालैंड राज्य मे देखने को मिलता है क्योंकि इसका कुल क्षेत्रफल लगभग 12486 वर्ग किलोमीटर है। जो क्षेत्रफल के हिसाब से भले ही उत्तर प्रदेश और गुजरात जैसे राज्यों से कम है तो इसका मतलब ये नही की राज्य के कुल क्षेत्रफल के प्रतिशत मे भी पीछे है।
क्योंकि जहाँ इतना बड़ा राज्य होने के बावजूद भी उत्तर प्रदेश और गुजरात का वन्य क्षेत्र प्रतिशत इतना कम है तो वहीं नागालैंड के जंगल उसके 16579 SQ KMS area के कुल 75.31% है। जो बताता है की नागालैंड भले ही 8 वें स्थान पर हो पर प्रतिशत के मामले मे इसका कोई जवाब नही है।
9. उत्तर प्रदेश
इतना तो आप सभी को पता ही होगा कि उत्तर प्रदेश भारत का सबसे ज्यादा आबादी वाला राज्य है। जिसकी कुल जनसंख्या 24 करोड़ से भी ज्यादा है।
लेकिन क्या आपको पता है कि उत्तर प्रदेश का कुल वन्य क्षेत्र कितना है? मौजूदा समय में देखा जाए तो इसका वन्य क्षेत्र लगभग 14806 वर्ग किलोमीटर है। जो की इसके कुल 240,928 वर्ग किलोमीटर के क्षेत्रफल का लगभग 6.15% है।
अब आप सोच रहे होंगे की आखिर उत्तर प्रदेश का वन्य क्षेत्र के कम होने का क्या कारण है? पिछले कुछ समय मे जंगलों की अवैध कटाई और बढ़ती जनसंख्या इस के पीछे का बड़ा कारण बन कर उभरी है। क्योंकि बढ़ती जनसंख्या की वजह से लोगों की जरूरतें बढ़ी है। साथ ही खेती के जमीन मे इजाफा हुआ है। इसके चलते जंगलों को लगातार काटा जा रहा है।
10. गुजरात
दोस्तों अगर गुजरात की बात करें तो मौजूदा समय में वह न सिर्फ भारत का टेक्सटाइल हब है बल्कि सबसे विकसित राज्यों मे से एक भी है, जहाँ का infrastructure देखते ही बनता है। लेकिन जहाँ एक तरफ गुजरात विकास की तरफ बढ़ रहा है वहीं दूसरी तरफ यहां के वन्य क्षेत्र में पिछले कुछ दशकों में काफी कमी आई है। इसके चलते आज करीब 196244 वर्ग किलोमीटर क्षेत्रफल में फैले हुए गुजरात का कुल वन्य क्षेत्र महज 14857 वर्ग किलोमीटर ही रह गया है। जो की इसके कुल क्षेत्रफल का लगभग 7.57% है।
भले ही पिछले कुछ समय मे सरकार ने इस मामले मे ध्यान देते हुए वनों की कटाई पर पाबंदी लगाई है। इसके बावजूद भी फिलहाल के लिए वन्य क्षेत्रों मे ज्यादा कोई इजाफा देखने को नहीं मिला है।
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दोस्तों ये थे भारत के 10 सबसे कम जंगल वाले राज्य। उम्मीद है आपको आज का यह पोस्ट पसंद आया हो । अगर आप को यह पोस्ट पसंद आया तो इसे आगे अपने दोस्तों से जरूर share कीजिए, ताकि वह भी इसका लाभ उठा सकें और इन 10 सबसे कम जंगली क्षेत्र वाले राज्यों को जान सकें।
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